मुहब्बत करने में जनाब दोष नहीं होता, हर आशिक को तेरे अर्ज़ पर होश नहीं होता| फिर भी लहरें टकराती हैं आकर किनारे से, जानेमन! 'मानस' इससे बेहोश नहीं होता||
"फिर भी लहरें टकराती हैं आकर किनारे से" वाह मानस जी, बड़े ही शानदार तुलना की है..आप ने काफी कम उम्र में ऐसी घनिष्ठ प्रतिभा प्राप्त कर ली है, बहुत बहुत शुभकामनाएं|
"फिर भी लहरें टकराती हैं आकर किनारे से" वाह मानस जी, बड़े ही शानदार तुलना की है..आप ने काफी कम उम्र में ऐसी घनिष्ठ प्रतिभा प्राप्त कर ली है,
ReplyDeleteबहुत बहुत शुभकामनाएं|